शेख अफरोज हरदा/जानकारों का कहना है कि पुलिस अधीक्षक चौकसे क्षेत्रीय नेताओं के दबाव में काम करना पसंद नहीं करते। उनका मानना है कि पुलिस की प्राथमिक जिम्मेदारी जनता की सुरक्षा और कानून-व्यवस्था बनाए रखना है। यही कारण है कि वे हर निर्णय जनता के हित को ध्यान में रखकर लेते हैं। हाल ही में जिले में घटी एक बड़ी घटना के दौरान चौकसे की त्वरित कार्यवाही ने यह साबित कर दिया कि यदि अधिकारी निष्पक्ष और सक्रिय हो तो जनता के विश्वास पर खरा उतरा जा सकता है।
ग्रामीण अंचलों में चौकसे की ईमानदार छवि पर चर्चा आम है। गांवों का दौरा करने वाले पत्रकार और जनप्रतिनिधि बताते हैं कि जब ग्रामीणों से बातचीत होती है तो लोग खुलकर कहते हैं कि "एसपी साहब हमारे लिए हमेशा खड़े रहते हैं।" आम जनता का यह भरोसा किसी भी पुलिस अधिकारी के लिए बड़ी उपलब्धि माना जाता है।
अभिनव चौकसे की सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे हर व्यक्ति को बराबरी से सुनते हैं। चाहे कोई गरीब मजदूर अपनी समस्या लेकर उनके पास पहुंचे या कोई प्रभावशाली नागरिक—दोनों के साथ समान व्यवहार किया जाता है। ग्रामीणों का कहना है कि अक्सर जब कोई गरीब व्यक्ति अपनी समस्या बताता है तो एसपी तुरंत संबंधित थाना प्रभारी को फोन लगाकर समस्या का निराकरण करने के निर्देश देते हैं। इस त्वरित निर्णय क्षमता ने ही उन्हें लोगों का चहेता बना दिया है।
नगर और कस्बों में भी लोगों के बीच उनकी ईमानदारी और कर्मठता की खूब सराहना हो रही है। आमतौर पर पुलिस की छवि "पहुंच और पैसों के बिना काम न करने वाली" कही जाती है, लेकिन चौकसे इस सोच को बदलने का प्रयास कर रहे हैं। वे लगातार थानों का औचक निरीक्षण कर रहे हैं, अधिकारियों और कर्मचारियों को साफ निर्देश दिए हैं कि किसी भी फरियादी को परेशान न किया जाए और उसकी समस्या का त्वरित निराकरण किया जाए।कुछ दिन पूर्व एक आदिवासी महिला जिसके एक दबंग व्यक्ति ने खाते से राशी निकाल ली थी उसकी कहीं कहीं भी एफ आई आर नहीं हो रही थी उसकी एसपी ने तत्काल हस्तक्षेप कर एफ आई आर करवाई, एक व्यक्ति द्वारा किसान से खाद के नाम पर पैसे हर अपने की बात पर भी तत्काल एफआईआर करने के आदेश एसपी महोदय द्वारा दिए गए ,इसी प्रकार कई मामले हैं जो चर्चा का विषय बने हुए
स्थानीय लोगों का कहना है कि चौकसे की ईमानदार और पारदर्शी कार्यशैली से पुलिस विभाग की साख बढ़ी है। पहले जहां लोग पुलिस से दूरी बनाए रखते थे, वहीं अब वे निडर होकर अपनी समस्याएं लेकर सामने आ रहे हैं। बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक में उनके प्रति सम्मान और विश्वास का भाव देखा जा सकता है।
कहा जा सकता है कि पुलिस अधीक्षक अभिनव चौकसे ने हरदा जिले की पुलिसिंग को नई दिशा दी है। उनकी कार्यशैली यह संदेश देती है कि यदि अधिकारी में ईमानदारी और जनता के प्रति संवेदनशीलता हो तो पुलिस का नाम भय नहीं, बल्कि विश्वास का पर्याय बन सकता है।