शेख अफ़रोज़,खिरकिया/इस समय खिरकिया मुख्यकार्यपालन अधिकारी प्रवीण कुमार इवने के एक आदेश ने जनपद पंचायत खिरकिया के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायतों के ग्राम रोजगार सहायकों(सहायक सचिवो) को सकते में डाल दिया है।जिसके विरोध में गुरुवार के दिन सभी ग्राम रोजगार सहायक,ने जनपद पहोच कर मनमाफिक निकाले गए आदेश को वापस लेने निरस्त करने की मांग ज्ञापन देकर की है ग्राम रोजगार सहायक संघ के जिला अध्यक्ष प्रवीण पालीवाल से ली गई जानकारी अनुसार अगर 3 दिवस में आदेश वापस नहीं लिया गया,आदेश निरस्त नहीं हुआ था तो हम पूरे हरदा जिले के ग्राम रोजगार सहायक सामूहिक तौर से कलम बन्द हड़ताल पर चले जाएंगे।
CEO के आदेश में क्या लिखा था-
CEO ने पत्र क./126/ज.पं/मनरेगा / 2022-23 खिरकिया दिनांक-29-7.2024 पत्र जारी कर जनपद पंचायत खिरकिया के अंतर्गत आने वाली समस्त ग्राम पंचायतों में सरपंच एवं सचिव ग्राम पंचायत को निर्देशित करते हुए लिखा कि जनपद पंचायत खिरकिया अन्तर्गत ग्राम पंचायतों में पदस्थ ग्राम रोजगार सहायकों (सहायक सचिवों) की उपस्थिति प्रतिवेदन सचिव सरपंच ग्राम पंचायत के द्वारा सत्यापित होने के पश्चात् प्रत्येक माह की 25 तारीख तक जनपद पंचायत खिरकिया मुख्यालय में मनरेगा शाखा में प्रस्तुत करना सुनिश्वित् करें। जिससे ग्राम रोजगार सहायकों (सहायक सचिवों) के मानदेय शासन के निर्देशानुसार निश्वित समय में भुगतान की कार्यवाही की जा सके ।
जी.आर.एस ओने प्रदेश में जिले का नाम अव्वल स्थान पर लाने में ,अपने योगदान को भी ज्ञापन के माध्यम से ज्ञात करवाया
सीईओ के आदेश के बाद आहत हुए ग्राम रोजगार सहायको ने ज्ञापन में सीईओ के आदेश का विरोध दर्ज करने के साथ-साथ शासन की संचालित योजनाओं में सचिवो,सरपंचों के साथ कदम से कदम मिलाकर योजनाओ के बेहतर क्रियान्वयन के लिए जिले को प्रदेश में अव्वल लाने में दिए गए अपने योगदान को भी ज्ञापन के माध्यम से सीईओ को ज्ञात करवाने के प्रयास किया उन्होंने ज्ञापन में लिखा-सीईओ द्वारा जारी किए गए आदेश के संबंध में सहायक सचिव संघ खिरकिया यह ज्ञात करना चाहता है कि संपूर्ण मध्यप्रदेश की 312 जनपदों में सहायक सचिवों की उपस्थिति के संबंध में किसी भी प्रकार का आदेश जारी नही हुआ है, तो जनपद पंचायत खिरकिया में इस प्रकार के आदेश जारी कर ग्राम पंचायतों में पदाधिकारी एवं कर्मचारियों के बिच वैमनस्यता का भाव उत्पन्न करना किसी भी दृष्टिकोण से उचित प्रतीत नहीं होता है। संघ जानना चाहता है कि उक्त संबंध में मनरेगा परिषद के किस आदेश के तहत यह आदेश जारी किया गया है। उक्त आदेश से यही प्रतीत होता है कि संपूर्ण मध्यप्रदेश की जनपदों को छोडकर केवल जनपद पंचायत खिरकिया के सहायक सचिव अपने कार्य के प्रति लापरवाह है, या अधिकांश समय ग्राम पंचायतों में अनुपस्थित रहतें है। ऐसा प्रतीत होता है तो फिर अधिकांश जनपद पंचायत खिरकिया कई मापदंडों में शीर्ष स्थान पर रहने का श्रेय किसे देते है? विगत 1 माह से चल रहे अंकुर अभियान में संपूर्ण मध्यप्रदेश में हरदा जिला 165364 पौधों की वायुदूत एप्प में प्रविष्टि कर शीर्ष स्थान बनायें हुये है, जबकि जिला अलीराजपुर में मात्र 267 पौंधे रोपित कर सबसे निम्न स्थान पर है। सीएम हेल्पलाईन में सचिव, सहायक सचिव द्वारा ग्रामीण जनों की शिकायतों का संतुष्टिपूर्ण समाधान किया जाकर हरदा जिला विगत माहों में शीर्ष स्थान पर रहा है। सहायक सचिवों को हमेंशा अन्य विभागों के कार्यों में संलग्न कर प्रगति परिलक्षिति की जाती है जिनकी किसी भी प्रकार से समीक्षा नही होती है, अपितु इन अन्य विभागों की प्रगति के कारण हमारे मूल कार्य प्रभावित होते है। जिसका खामियाजा हमेंशा सहायक सचिवों को भुगतना पडता है। इसी प्रकार अन्य अभियानों और याजनाओं में हरदा जिले की प्रगति सम्मान जनक होती है। इसके उपरांत भी यदि इस प्रकार का आदेश जारी किया जाता है तो कहीं ना कहीं सहायक सचिवों का मनोबल गिरता है। जिला हरदा और जनपद पंचायत खिरकिया अनेकों अभियानों में शीर्ष पर रहा है। फिर भी इस प्रकार के आदेश जारी करना, सहायक सचिवों के प्रति वैमनस्यता के भाव को प्रदर्शित करता है, जिसका सहायक सचिवनसंघ विरोध करता है।यदि तीन दिवस के भीतर उक्त आदेश निरस्त नही किया जाता है तो जनपद पंचायत खिरकिया के साथ साथ संपूर्ण जिले के सहायक सचिव कलम बंद हडताल पर जाने हेतु बाध्य होंगें, जिसकी संपूर्ण जवाबदेही शासन प्रशासन की होगी।
क्या कहते हैं जिम्मेदार-
अध्यक्ष प्रवीण पालीवाल जिला रोज़गार सहायक संघ जिला अध्यक्ष हरदा।

